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NSTMIS रिपोर्ट: भारत ने वैज्ञानिक प्रकाशन में तीसरा स्थान रखा

NSTMIS रिपोर्ट: भारत ने वैज्ञानिक प्रकाशन में तीसरा स्थान रखा राष्ट्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी प्रबंधन सूचना (NSTMIS) ने अनुसंधान और विकास सांख्यिकी और संकेतक 2019-20 पर एक सर्वेक्षण किया है।

हाइलाइट

रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत वैज्ञानिक प्रकाशन में विश्व स्तर पर तीसरे स्थान पर है। पहले दो रैंकों पर यूएसए और चीन का कब्जा था। देश में अनुसंधान और विकास पर सकल व्यय 2008 और 2018 के बीच तीन गुना हो गया। यह 2008 में 39,437 करोड़ रुपये था और 2018 में बढ़कर 1,13,825 करोड़ रुपये हो गया।

रिपोर्ट की मुख्य खोजें

रिपोर्ट में कहा गया है कि दो मुख्य योगदानकर्ता विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग और जैव प्रौद्योगिकी विभाग थे। DST में R और D समर्थन का 63% और DBT का योगदान 14% है।

  • R & D क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी 13% से बढ़कर 24% हो गई है।
  • अप्रैल 2018 तक अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठानों में लगभग 5.52 लाख कर्मचारी काम कर रहे हैं।
  • रेजिडेंट पेटेंट फाइलिंग के मामले में भारत दुनिया में 9 वें स्थान पर था। भारत का पेटेंट कार्यालय दुनिया में सातवें स्थान पर है।
  • प्रति मिलियन शोधकर्ताओं की संख्या 2000 के बाद से भारत में दोगुनी हो गई है।
  • रिपोर्ट के अनुसार, भारत वर्तमान में प्रति शोधकर्ता 185 USD खर्च कर रहा है और इस खर्च में रूस, हंगरी, इजरायल, ब्रिटेन और स्पेन से आगे है।

महत्व

यह रिपोर्ट नीति निर्माण, उच्च शिक्षा, औद्योगिक प्रतिस्पर्धा और बौद्धिक संपदा की योजना बनाने के लिए महत्वपूर्ण है।

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